हर रोज इतना मुस्कुराया करो की ग़म भी कहे- Har Roz Itna Muskuraaya Karo Ki Gam Bhi Kahe
हर रोज इतना मुस्कुराया करो की ग़म भी कहे !
यार मै गलती से कहा आ गया !!
Har roz itna muskuraaya karo ki gam bhi kahe !
yaar mai galti se kaha aa gaya !!
हर रोज इतना मुस्कुराया करो की ग़म भी कहे !
यार मै गलती से कहा आ गया !!
Har roz itna muskuraaya karo ki gam bhi kahe !
yaar mai galti se kaha aa gaya !!
वो बचपन के दिन भी क्या खूब थे ! ना दोस्ती का मतलब पता था ना मतलब की दोस्ती थी... read more
ऐ दोस्त तेरी दोस्ती पर नाज़ हैं ! हर वक्त मिलने की फरीयाद करते हैं ! हमें नहीं पता घर वाले... read more
ऐ दोस्त जिदगी भर मुझसे दोस्ती निभाना ! दिल की कोई भी बात हमसे कभी ना छुपाना ! साथ चलना मेरे... read more
तेरा मेरा नाम लिखा था जिन पर हमने बचपन में ! उन पेड़ों से आज भी तेरे हाथों की खुश़बू... read more
आपकी दोस्ती हमारी सुरों का साज है, आप जैसे दोस्त पर हमें नाज़ है, अब चाहे कुछ भी हो जाये जिंदगी... read more
दाग़ दुनिया ने दिए जख़्म ज़माने से मिले ! हम को तोहफे ये तुम्हें दोस्त बनाने से मिले !! Daag duniya... read more
दिमाग पर जोर डालकर गिनते हो गलतियाँ मेरी ! कभी दिल पर हाथ रख कर पूछना की कसूर किसका था... read more
मत कर हिसाब मेरे प्यार का, कही ऐसा ना हो की…. बाद में तू ही कर्जदार निकले Mat kar hisab mere pyar... read more
नही छोड़ी कमी किसी भी रिश्ते को निभाने में मैंने कभी… आने वाले को दिल का रास्ता भी दिया और जाने वाले... read more
“दिन बीत जाते हैं सुहानी यादें बनकर, बातें रह जाती हैं कहानी बनकर, पर दोस्त तो हमेशा दिल के करीब रहेंगे, कभी... read more